Gita 11:39

Gita Chapter-11 Verse-39


वायुर्यमोऽग्निर्वरुण: शशांक्ङ:
प्रजापतिस्त्वं प्रपितामहश्च ।
नमो नमस्तेऽस्तु सहस्त्रकृत्व:
पुनश्च भूयोऽपि नमो नमस्ते ।।39।।



आप वायु, यमराज[1], अग्नि[2], वरुण[3], चन्द्रमा[4], प्रजा के स्वामी ब्रह्मा[5] और ब्रह्म के भी पिता हैं। आपके लिये हज़ारों बार नमस्कार ! नमस्कार हो !! आपके लिये फिर भी बार-बार नमस्कार ! नमस्कार ! ।।39।।

You are air, fire, water, and You are the moon! You are the supreme controller and the grandfather. Thus I offer my respectful obeisances unto You a thousand times, and again and yet again! (39)




Verses- Chapter-11

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Chapter
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References and context

  1. यमराज जीवों के शुभाशुभ कर्मों के निर्णायक हैं।
  2. अग्निदेवता यज्ञ के प्रधान अंग हैं। ये सर्वत्र प्रकाश करने वाले एवं सभी पुरुषार्थों को प्रदान करने वाले हैं।
  3. वरुण जल के स्वामी तथा सम्पूर्ण सम्राटों के सम्राट हैं।
  4. पौराणिक संदर्भों के अनुसार चंद्रमा को तपस्वी अत्रि और अनुसूया की संतान बताया गया है, जिसका नाम 'सोम' है।
  5. सर्वश्रेष्ठ पौराणिक त्रिदेवों में ब्रह्मा, विष्णु एवं शिव की गणना होती है। इनमें ब्रह्मा का नाम पहले आता है, क्योंकि वे विश्व के आद्य सृष्टा, प्रजापति, पितामह तथा हिरण्यगर्भ हैं।